राजस्थान में वन
- प्रश्न 131 इनमें से कौन-सी परियोजना जापान इन्टरनेशनल कोआपरेशन ऐजेन्सी के सहयोग से चलायी जा रही है -
Stenographer Comp. Exam - 2011 (Paper I) -
- (अ) मरूस्थलीकरण
- (ब) राजस्थान वानिकी एवं जैवविविधता परियोजना
- (स) राष्ट्रीय उद्यानों का विकास
- (द) हरित राजस्थान
उत्तर : राजस्थान वानिकी एवं जैवविविधता परियोजना
- प्रश्न 132 राजस्थान में बड़े घास के मैदानों को किस नाम से जाना जाता है -
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- (अ) जंगल
- (ब) औरण
- (स) बीड़
- (द) जंगलात
उत्तर : बीड़
- प्रश्न 133 प्रशासनिक दृष्टि से वनों को कितने भागों में बांटा गया है -
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- (अ) दो
- (ब) तीन
- (स) चार
- (द) पांच
उत्तर : तीन
व्याख्या :
शासनिक दृष्टि से वनों को तीन मुख्य भागों में बाँटा गया है:
संरक्षित वन (Reserved Forests) - इन वनों में सरकार का पूरा नियंत्रण होता है, और बिना अनुमति के वन संसाधनों का उपयोग प्रतिबंधित होता है।
सुरक्षित वन (Protected Forests) - यहाँ सरकार का अधिकार होता है, लेकिन स्थानीय लोगों को कुछ अधिकार दिए जाते हैं, जैसे लकड़ी इकट्ठा करना और मवेशियों को चराना।
अवर्गीकृत वन (Unclassified Forests) - ये वे वन होते हैं जो संरक्षित या सुरक्षित श्रेणी में नहीं आते। इन वनों पर राज्य सरकार का आंशिक नियंत्रण होता है और स्थानीय लोग इनका उपयोग कर सकते हैं।
- प्रश्न 134 राजस्थान में किस श्रेणी के वन नहीं पाये जाते -
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- (अ) उपोष्ण सदाबहार वन
- (ब) उष्ण कटिबन्धीय पतझड़ वन
- (स) मिश्रित पतझड़ वन
- (द) कोणधारी ज्वारीय वन
उत्तर : कोणधारी ज्वारीय वन
व्याख्या :
राजस्थान में कोणधारी ज्वारीय वन नहीं पाये जाते है। राजस्थान का जलवायु मुख्यतः शुष्क और अर्ध-शुष्क है। राजस्थान में मुख्यतः उष्ण कटिबंधीय सदाबहार वन, उष्ण कटिबंधीय कांटेदार वन, शुष्क सागवान वन, कंटीली झाड़ियाँ, शुष्क पर्णपाती वन, और मरुस्थलीय वनस्पति पाई जाती है।
- प्रश्न 135 सेवण घास राजस्थान के किस हिस्से में पाई जाती है -
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- (अ) उत्तरी
- (ब) दक्षिणी
- (स) पूर्वी
- (द) पश्चिमी
उत्तर : पश्चिमी
व्याख्या :
सेवण घास, राजस्थान के पश्चिमी हिस्से में पाई जाती है:
- प्रश्न 136 निम्नलिखित में से किसे ‘वागड़ का चीकू’ के नाम से जाना जाता है -
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- (अ) तेंदु
- (ब) पलाश
- (स) बाँस
- (द) रोहिदा
उत्तर : तेंदु
व्याख्या :
तेदुं : इसे राजस्थानी भाषा में टिमरू कहते हैं। इसे वागड़ का चीकू भी कहा जाता है। तेन्दुपत्ता का प्रयोग बीड़ी बनाने में किया जाता है। इसके पेड़ सर्वांधिक बांसवाड़ा, प्रतापगढ़, उदयपुर, चितौड़गढ़, बारां, कोटा, बूंदी में पाए जाते हैं।
- प्रश्न 137 निम्नलिखित में से किसे जंगल की ज्वाला के रूप में जाना जाता है -
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- (अ) पलाश
- (ब) ऑर्किड
- (स) बाँस
- (द) रोहिदा
उत्तर : पलाश
- प्रश्न 138 खेजड़ी के पेड़ राजस्थान के किस जंगल में पाए जाते हैं -
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- (अ) उष्णकटिबंधीय कांटेदार वन
- (ब) उष्णकटिबंधीय शुष्क पर्णपाती वन
- (स) मिश्रित पर्णपाती वन
- (द) उपोष्णकटिबंधीय पर्वतीय वन
उत्तर : उष्णकटिबंधीय कांटेदार वन
- प्रश्न 139 सुमेलित कीजिए -
अ, ब, स, दअ. शुष्क सागवान वन 1. सिरोही ब. मिश्रित पतझड़ वन 2. जैसलमेर, बाड़मेर, बीकानेर स. सदाबहार वन 3. बांसवाड़ा, बारां द. मरूस्थलीय वन 4. उदयपुर, राजसमन्द, चित्तौड़ -
- (अ) 1, 2, 3, 4
- (ब) 2, 3, 4, 1
- (स) 4, 3, 1, 2
- (द) 3, 4, 1, 2
उत्तर : 3, 4, 1, 2
व्याख्या :
शुष्क सागवान वन - बांसवाड़ा, बारां
मिश्रित पतझड़ वन - उदयपुर, राजसमंद, चित्तौड़
सदाबहार वन - सिरोही
मरूस्थलीय वन - जैसलमेर, बाड़मेर, बीकानेर
- प्रश्न 140 राजस्थान में जंगलों की कमी का मुख्य कारण क्या है -
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- (अ) मवेशी चराई
- (ब) जलवायु कारक
- (स) लकड़ी के निर्माण के लिए जंगलों की कटाई
- (द) ईंधन के लिए जंगलों की घटती संख्या
उत्तर : जलवायु कारक
व्याख्या :
राजस्थान में जंगलों की कमी के पीछे जलवायु कारक एक मुख्य कारण है। राजस्थान एक शुष्क और अर्ध-शुष्क क्षेत्र है, जहां वर्षा की कमी और अत्यधिक गर्मी के कारण वनस्पति का विकास सीमित होता है।
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