राजस्थान की मिट्टियाँ
- प्रश्न 184 नीचे दो कथन दिए गए हैं :
कथन-I: काली मिट्टी राजस्थान के कोटा, बूंदी, बाराँ और झालावाड़ जिलों में पाई जाती है।
कथन- II : काली मिट्दी में नाइट्रोजन तो पर्याप्त मात्रा में होती है परन्तु कैल्शियम की कमी होती है।
उपर्युक्त कथनों के आलोक में निम्नलिखित विकल्पों में से सर्वाधिक उपयुक्त उत्तर चुनें :
CET 2024 (12th Level) 24 October Shift-I -
- (अ) कथन I सत्य है, किन्तु कथन II असत्य है।
- (ब) कथन I असत्य हैं, किन्तु कथन II सत्य है।
- (स) कथन I और II दोनों सत्य हैं।
- (द) कथन I और II दोनों असत्य हैं।
उत्तर : कथन I सत्य है, किन्तु कथन II असत्य है।
व्याख्या :
काली मिट्टी इन जिलों में पाई जाती है, लेकिन इसमें नाइट्रोजन की कमी होती है। इसमें आयरन, चूना, एल्युमीनियम जीवांश और मैग्नीशियम की बहुलता होती है।
- प्रश्न 185 निम्नलिखित में से किस ज़िले में प्रधानतः जलोढ मृदा नहीं है -
Junior Instructor(CLIT) Exam 2024 -
- (अ) धौलपुर
- (ब) बीकानेर
- (स) श्री गंगानगर
- (द) हनुमानगढ
उत्तर : बीकानेर
व्याख्या :
बीकानेर क्षेत्र में मुख्य रूप से मरुस्थलीय रेतीली मृदा पाई जाती है, जबकि जलोढ़ मृदा गंगा और घग्घर नदी के किनारे (जैसे श्रीगंगानगर और हनुमानगढ़) अधिक मिलती है।
- प्रश्न 186 भूरी मृदाएँ मुख्यतः निम्न में पाई जाती हैं - (निम्न में से सबसे उपयुक्त विकल्प चुनें)
1. टोंक में 2. भीलवाड़ा में
3. बूंदी में 4. उदयपुर में
Junior Instructor (EC) Exam 2024 -
- (अ) केवल 1, 2 व 4
- (ब) केवल 1, 3 व 4
- (स) केवल 2, 3 व 4
- (द) सभी 1, 2, 3 व 4
उत्तर : सभी 1, 2, 3 व 4
व्याख्या :
भूरी मिट्टी का जमाव विशेषतः बनास व उसकी सहायक नदियों के प्रवाह क्षेत्र में पाया जाता है। राजस्थान में भूरी मिट्टीयुक्त क्षेत्र अरावली के पूर्वी भाग में माना जाता है। भूरी मिट्टी में नाइट्रोजन और फॉस्फोरस लवणों का अभाव होता है। भूरी मिट्टी राज्य के टोंक, सवाई माधोपुर, बूँदी, भीलवाड़ा, उदयपुर, राजसमंद व चित्तौड़गढ़ जिलों में पाई जाती है।
- प्रश्न 187 दोमट मृदा में _____ कमी होती है।
Junior Instructor (ED) Exam 2024 -
- (अ) फास्फेट की
- (ब) पोटाश की
- (स) नाइट्रोजन की
- (द) सिलिका की
उत्तर : नाइट्रोजन की
व्याख्या :
दोमट या दोमट मिट्टी रेत, गाद और चिकनी मिट्टी से बनी होती है। रेतीली मिट्टी की तुलना में दोमट मिट्टी में अधिक खाद (ह्यूमस), पोषक तत्व और नमी होती हैं। दोमट मृदा में जल धारण करने की क्षमता अच्छी होती है, लेकिन इसमें नाइट्रोजन की कमी पाई जाती है।
- प्रश्न 188 निम्नलिखित में से कौन-सा मृदा अपरदन का प्रत्यक्ष कारण नहीं है -
Junior Instructor ((ESR) Exam 2024 -
- (अ) अत्याधिक पशुचारण
- (ब) स्थानान्तरित कृषि
- (स) वैश्विक तापमान वृद्धि
- (द) वन विनाश
उत्तर : वैश्विक तापमान वृद्धि
व्याख्या :
वैश्विक तापमान वृद्धि मृदा अपरदन का प्रत्यक्ष कारण नहीं है, बल्कि यह एक अप्रत्यक्ष कारक है। अत्याधिक पशुचारण, स्थानान्तरित कृषि और वन विनाश मृदा अपरदन के प्रत्यक्ष कारण हैं।
- प्रश्न 189 निम्न में से वह जिला युग्म जहाँ लाल व पीली मृदा पाई जाती है, है - (सबसे उपयुक्त चुनें)
Junior Instructor (Fitter) Exam 2024 -
- (अ) अलवर - भरतपुर
- (ब) कोटा - बूँदी
- (स) सिरोही - सवाई माधोपुर
- (द) सीकर - पाली
उत्तर : सिरोही - सवाई माधोपुर
व्याख्या :
राजस्थान के सिरोही और सवाई माधोपुर जिलों में लाल एवं पीली मृदा पाई जाती है, जो लोहा व एल्यूमिनियम ऑक्साइड की उपस्थिति के कारण रंगीन होती है।
- प्रश्न 190 निम्न में से कौनसी मृदा, राजस्थान के पश्चिमी मरूस्थल से मूलतः संबंधित है -
Junior Instructor (Fitter) Exam 2024 -
- (अ) अल्फीसॉल्स
- (ब) एरिडीसॉल्स
- (स) इन्सेप्टीसॉल्स
- (द) वर्टीसॉल्स
उत्तर : एरिडीसॉल्स
व्याख्या :
राजस्थान के पश्चिमी भाग में एरिडीसॉल्स (बालु मिट्टी) प्रकार की मृदा पाई जाती है, जो शुष्क जलवायु में विकसित होती है।
- प्रश्न 191 मिट्टी का लाल रंग ____ के आधिक्य के कारण होता है।
Junior Instructor (RAT) Exam 2024 -
- (अ) कैल्सियम
- (ब) लौह
- (स) ताम्र
- (द) मैग्नेशियम
उत्तर : लौह
व्याख्या :
लौह ऑक्साइड (Fe₂O₃) मिट्टी को लाल रंग प्रदान करता है।
- प्रश्न 192 निम्न में से कौन-सा मृदा में लवणीयता एवं क्षारीयता का समाधान है -
Junior Instructor (WCS) Exam 2024 -
- (अ) यूरिया
- (ब) जिप्सम
- (स) पोटाश
- (द) रॉक फॉस्फेट
उत्तर : जिप्सम
व्याख्या :
जिप्सम (CaSO₄·2H₂O) मृदा सुधारक के रूप में काम करता है और मृदा की लवणीयता को कम करने में सहायक होता है।
- प्रश्न 193 जयपुर, दौसा और अलवर जिलों में किस मृदा की प्रधानता है -
Raj. State and Sub. Services Comb. Comp. (Pre) Exam - 2024 -
- (अ) एन्टीसोल
- (ब) इनसेप्टीसोल्स
- (स) वर्टीसोल्स
- (द) अल्फीसोल्स
उत्तर : अल्फीसोल्स
व्याख्या :
अल्फीसोल्स मृदा जयपुर, दौसा, अलवर, भरतपुर, सवाई माधोपुर, करौली, टोंक, भीलवाड़ा, चित्तौड़गढ़, बांसवाड़ा, राजसमन्द, उदयपुर, डूंगरपुर, बूंदी, कोटा, बारां, झालावाड़ जिलों में पाई जाती है।
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