राजस्थान में लोक देवता व देवियाँ
- प्रश्न 61 किस लोक देवता की स्मृति में तिलवाड़ा का मेला भरता है -
Sr Teacher Gr II Special Edu. Comp. Exam 2015 (G.K.) -
- (अ) हरभूजी
- (ब) पाबूजी
- (स) गोगाजी
- (द) मल्लीनाथ जी
उत्तर : मल्लीनाथ जी
व्याख्या :
तिलवाड़ा का मेला (बालोतरा) राजस्थान के लोक देवता मल्लीनाथ जी की स्मृति में आयोजित होता है। मल्लीनाथ जी मारवाड़ के राठौड़ वंश के थे और उनकी पूजा विशेष रूप से पशुपालक समुदाय द्वारा की जाती है।
- प्रश्न 62 ‘धौलागढ़ देवी’ का मंदिर किस जिले में स्थित है -
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- (अ) अलवर
- (ब) बूंदी
- (स) भरतपुर
- (द) कोटा
उत्तर : अलवर
- प्रश्न 63 निम्न में से किस लोक देवी को ‘थार की वैष्णो देवी’ कहा जाता है -
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- (अ) जीण माता
- (ब) चामुण्डा माता
- (स) ज्वाला माता
- (द) तनोट माता
उत्तर : तनोट माता
- प्रश्न 64 लोकदेवताओं का कौनसा युग्म बालीनाथ का शिष्य था -
Asstt. Agriculture Officer(TSP) Exam 2015 Paper 1 -
- (अ) मल्लिनाथजी और रामदेवजी
- (ब) हरभुजी और रामदेवजी
- (स) देवजी और मल्लीनाथजी
- (द) तेजाजी और रामदेवजी
उत्तर : हरभुजी और रामदेवजी
- प्रश्न 65 जाहरपीर के नाम से कौन से लोक देवता को जाना जाता है -
Raj Jail Warder (20-10-18) Shift 1 -
- (अ) हड़बू जी
- (ब) गोगा जी
- (स) देवनारायण जी
- (द) रामदेवजी
उत्तर : गोगा जी
- प्रश्न 66 लोकदेवता रामदेवजी ने किस सन् में जीवित समाधि ली थी -
Raj Jail Warder (20-10-18) Shift 1 -
- (अ) 1468 ई.
- (ब) 1448 ई.
- (स) 1458 ई.
- (द) 1438 ई.
उत्तर : 1458 ई.
व्याख्या :
1458 ई. में भाद्रपद शुक्ल एकादशी को रामदेव जी ने रूणिचा ( जैसलमेर ) में रामसरोवर की पाल पर समाधि ली।
रामदेव जी के मंदिर को देवरा कहा जाता है तथा इनकी ध्वजा को नेजा कहते है जो श्वेत / पांच रंगों की होती है। रामदेव का रात्रि जागरण जम्मा कहलाता है। और बाबा रामदेव जी के मेघवाल समाज के भक्त रिखिया कहलाते है। रामदेवरा में बाबा के दर्शन करने के लिए जाने वाले भक्तो को जातरू कहते है। रामदेव जी के चमत्कारी जीवन गाथाओं का यशोगान पर्चा में होता है ( रानी रूपा ने सर्वप्रथम गाया ) इनकी आस्था में भक्तों द्वारा ब्यावले गीत गाए जाते है।
- प्रश्न 67 सुगन चिडी को किस लोकमाता का स्वरूप माना जाता है -
Raj Jail Warder (20-10-18) Shift 2 -
- (अ) आयड़ माता
- (ब) स्वांगिया माता
- (स) नागणेची माता
- (द) शीतला माता
उत्तर : आयड़ माता
व्याख्या :
आवड़ माता का मन्दिर जैसलमेर में है। सोहन चिड़ी/सुगन चिड़ी आवड़ माता का रुप है। इनके स्तुति पाठों को चिरजा कहते हैं जो सिगाऊ व घाड़ाऊ दो प्रकार के होते हैं। चांगला खांप के मुसलमान इनकी पूजा करते हैं। आवड़ माता को सांगियाजी, मांकड़ियाई, भादरेची, तेमड़ाराच, चालगनेची, डूंगरेची आदि नामों से जाना जाता है।
- प्रश्न 68 लोकदेवता गोगाजी के ‘थान’ सामान्यतः किस पेड़ के नीचे पाये जाते हैं -
Lab Assistant Exam 2018 -
- (अ) खेजड़ी
- (ब) पीपल
- (स) बरगद
- (द) नीम
उत्तर : खेजड़ी
- प्रश्न 69 तेजाजी का मुख्य तीर्थ स्थल कहां पर है -
Raj Jail Warder (20-10-18) Shift 3 -
- (अ) शाहपुरा
- (ब) नागौर
- (स) परबतसर
- (द) खडनाल
उत्तर : खडनाल
- प्रश्न 70 गोगामेडी स्थित है -
Raj Jail Warder (21-10-18) Shift 3 -
- (अ) चुरू जिले में
- (ब) हनुमानगढ़ जिले में
- (स) श्रीगंगानगर जिले में
- (द) झुंझुनु जिले में
उत्तर : हनुमानगढ़ जिले में
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