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5 April 2025

पीएम मोदी ने 6वें BIMSTEC शिखर सम्मेलन में पेश की 21-सूत्रीय कार्य योजना, क्षेत्रीय सहयोग को बढ़ावा

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बैंकॉक में 6वें BIMSTEC शिखर सम्मेलन में एक व्यापक 21-सूत्रीय कार्य योजना का अनावरण किया, इसका उद्देश्य सदस्य देशों के बीच सहयोग को बढ़ाना है। यह योजना आर्थिक विकास, डिजिटल परिवर्तन, आपदा प्रबंधन, ऊर्जा सुरक्षा, सांस्कृतिक आदान-प्रदान और युवा विकास को केंद्रित करता है, जो भारत की ‘पड़ोसी प्रथम’ और ‘एक्ट ईस्ट’ नीतियों के अनुरूप है। वहीं डिजिटल परिवर्तन के लिए पीएम मोदी ने भारत की आईटी विशेषज्ञता का उपयोग करने का सुझाव दिया और भारत के डिजिटल पब्लिक इंफ्रास्ट्रक्चर को अपनाने और यूनिफाइड पेमेंट्स इंटरफेस (UPI) को क्षेत्रीय भुगतान प्रणालियों से जोड़ने का प्रस्ताव दिया। आपदा प्रबंधन को मजबूत करने के लिए, उन्होंने भारत में BIMSTEC आपदा प्रबंधन उत्कृष्टता केंद्र स्थापित करने और बाद में एक संयुक्त आपदा प्रबंधन अभ्यास आयोजित करने की घोषणा की। सुरक्षा सहयोग भी इस योजना का एक प्रमुख हिस्सा था, जिसमें पीएम मोदी ने भारत में पहली बार BIMSTEC गृह मंत्रियों की बैठक आयोजित करने का प्रस्ताव दिया। उन्होंने नैनो-सैटेलाइट लॉन्च करने, रिमोट सेंसिंग डेटा का उपयोग करने और क्षेत्रीय सुरक्षा सहयोग को मजबूत करने के सुझाव दिए। मानव संसाधन विकास के तहत, BODHI पहल के माध्यम से BIMSTEC देशों के 300 युवाओं को हर साल प्रशिक्षित किया जाएगा। उन्होंने वन अनुसंधान संस्थान और नालंदा विश्वविद्यालय में छात्रों के लिए छात्रवृत्तियां, युवा राजनयिकों के लिए प्रशिक्षण कार्यक्रम और टाटा मेमोरियल सेंटर के माध्यम से कैंसर देखभाल प्रशिक्षण की घोषणा की। ऊर्जा सुरक्षा को बढ़ावा देने के लिए, बेंगलुरु में हाल ही में खोले गए BIMSTEC ऊर्जा केंद्र में युवा पेशेवरों को प्रशिक्षित किया जाएगा और क्षेत्रीय विद्युत ग्रिड कनेक्शन को मजबूत करने के प्रयास किए जाएंगे। पीएम मोदी ने युवाओं की भागीदारी पर भी जोर दिया और युवा नेताओं के शिखर सम्मेलन, क्षेत्रीय हैकथॉन और युवा पेशेवरों के आगंतुक कार्यक्रम का प्रस्ताव दिया। भारत 2025 में BIMSTEC एथलेटिक्स मीट और 2027 में पहली बार BIMSTEC गेम्स की मेजबानी करेगा। 1997 में स्थापित BIMSTEC हाल के वर्षों में विशेष रूप से भारत के नेतृत्व में गति पकड़ रहा है। 2016 में ब्रिक्स शिखर सम्मेलन के दौरान गोवा में BIMSTEC रिट्रीट जैसी पीएम मोदी की पहल ने क्षेत्रीय सहयोग को पुनर्जीवित किया है।

बांग्लादेश ने बिम्सटेक की अध्यक्षता ग्रहण की

बांग्लादेश ने बिम्सटेक की अध्यक्षता ग्रहण कर ली। थाईलैंड के प्रधानमंत्री से अध्यक्षता प्राप्त करने के बाद, बांग्लादेश के मुख्य सलाहकार मुहम्मद यूनुस ने समावेशी और कार्रवाई-उन्मुख बिम्सटेक की बात कही। यूनुस ने क्षेत्रीय सहयोग और विकास बढ़ाने के लिए बांग्लादेश की प्रतिबद्धता व्‍यक्‍त की। बिम्सटेक में बंगाल की खाड़ी क्षेत्र के सात देश – बांग्लादेश, भूटान, भारत, म्यामां, नेपाल, श्रीलंका और थाईलैंड शामिल हैं। बांग्‍लादेश अगले दो वर्ष तक बिम्सटेक का अध्यक्ष रहेगा।

ब्रिक्स: भारत जलवायु परिवर्तन एजेंडे को आगे बढ़ाने के लिए सामूहिक नेतृत्व की आवश्यकता पर दिया जोर

ब्राजील के ब्रासीलिया में आयोजित 11वीं ब्रिक्स पर्यावरण मंत्रियों की बैठक में भारत ने 2030 जलवायु परिवर्तन एजेंडा को आगे बढ़ाने के लिए सामूहिक नेतृत्व की आवश्यकता पर जोर दिया। पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय के अतिरिक्त सचिव अमनदीप गर्ग ने भारतीय प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व किया। प्रथम सत्र के दौरान भारत ने वैश्विक स्थिरता और जलवायु कार्रवाई को आकार देने में ब्रिक्स की महत्वपूर्ण भूमिका को रेखांकित किया। इस बात पर प्रकाश डालते हुए कि ब्रिक्स राष्ट्र सामूहिक रूप से दुनिया की आबादी का 47% हिस्सा हैं और वैश्विक सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी)(पीपीपी) में 36% का योगदान करते हैं, भारत ने जलवायु परिवर्तन और सतत विकास से निपटने में समूह की जिम्मेदारी पर जोर दिया।

केंद्रीय कैबिनेट ने वाइब्रेंट विलेज प्रोग्राम-II के लिए 6,839 करोड़ किए मंजूर

केंद्रीय मंत्रिमंडल ने शुक्रवार को भारत की अंतरराष्ट्रीय भूमि सीमाओं पर स्थित गांवों के विकास के लिए पूर्ण रूप से वित्तपोषित केंद्रीय क्षेत्र योजना के रूप में वाइब्रेंट विलेज प्रोग्राम-II (VVP-II) को मंजूरी दे दी। यह पहल सीमावर्ती क्षेत्रों में सुरक्षा बढ़ाने और जीवन स्तर में सुधार करके विकसित भारत@2047 के विजन के अनुरूप है। यह कार्यक्रम वीवीपी-I के तहत पहले से ही कवर की गई उत्तरी सीमा के अलावा अंतरराष्ट्रीय भूमि सीमाओं (आईएलबीएस) से सटे ब्लॉकों में स्थित गांवों के व्यापक विकास में मदद करेगा। परियोजना के प्रभावी कार्यान्वयन के लिए प्रौद्योगिकी का लाभ उठाया जाएगा और पीएम गति शक्ति जैसे सूचना डेटाबेस का उपयोग किया जाएगा। इस कार्यक्रम का उद्देश्य समृद्ध और सुरक्षित सीमाओं को सुनिश्चित करने, सीमा पार अपराध को नियंत्रित करने और सीमावर्ती आबादी को राष्ट्र के साथ आत्मसात करने और उन्हें ‘सीमा सुरक्षा बलों की आंख और कान’ के रूप में विकसित करने के लिए बेहतर जीवन स्थितियां और पर्याप्त आजीविका के अवसर पैदा करना है, जो आंतरिक सुरक्षा के लिए महत्वपूर्ण है। कुल 6,839 करोड़ रुपये के परिव्यय के साथ, यह कार्यक्रम अरुणाचल प्रदेश, असम, बिहार, गुजरात, जम्मू और कश्मीर (यूटी), लद्दाख (यूटी), मणिपुर, मेघालय, मिजोरम, नागालैंड, पंजाब, राजस्थान, सिक्किम, त्रिपुरा, उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश और पश्चिम बंगाल राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों के चुनिंदा रणनीतिक गांवों में वित्त वर्ष 2028-29 तक लागू किया जाएगा।

दक्षिण कोरियाई कंपनी बोडिटेक मेड का झज्जर में शुभारंभ

दक्षिण कोरिया की अग्रणी इनविट्रो डायग्नोस्टिक सॉल्यूशन्स और मेडिकल डिवाइस निर्माण कंपनी बोडिटेक मेड ने शुक्रवार को झज्जर में अपनी नई विनिर्माण इकाई का शुभारंभ किया। इस अवसर पर दक्षिण कोरिया के एंबेसडर ली सेओंग-हो और बोडिटेक मेड इंक के अध्यक्ष एवं सीईओ डॉ. यूई यूल चोई ने रिबन काटकर फैक्ट्री का उद्घाटन किया। झज्जर की रिलायंस मेट सिटी में स्थापित इस नई इकाई में शुरुआती तौर पर 50 करोड़ रुपये का निवेश किया गया है। यह फैक्ट्री 10,032 वर्ग मीटर के क्षेत्र में फैली हुई है और पूरी तरह से संचालन में आने के बाद भारतीय आईवीडी डिवाइस बाजार में 5 प्रतिशत से अधिक हिस्सेदारी हासिल करने का लक्ष्य रखती है। कंपनी को भारतीय बाजार से 650 करोड़ रुपये से अधिक के राजस्व की उम्मीद है।

भारत मानव-वन्यजीव-पर्यावरण इंटरफेस पर जूनोटिक स्पिलओवर जोखिमों का समाधान करने के लिए एक अंतर-मंत्रालयी वैज्ञानिक अध्ययन शुरू करेगा

भारत मानव-वन्यजीव-पर्यावरण इंटरफेस पर जूनोटिक स्पिलओवर जोखिमों का समाधान करने के लिए एक अंतर-मंत्रालयी वैज्ञानिक अध्ययन शुरू करेगा। यह अनूठा अध्ययन सिक्किम, महाराष्ट्र और तमिलनाडु में चुनिंदा पक्षी अभयारण्यों और आर्द्रभूमि में किया जाएगा। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा है कि व्यापक शोध परियोजना का उद्देश्य पक्षी अभयारण्य के श्रमिकों और आसपास के निवासियों में जूनोटिक रोगों का पता लगाने और उनका निदान करने के लिए एक वास्तविक समय निगरानी मॉडल विकसित करना है। मंत्रालय ने कहा कि आज नई दिल्ली में भारतीय आर्युविज्ञान अनुसंधान परिषद मुख्यालय में चुनिंदा पक्षी अभयारण्यों और आर्द्रभूमि पर एक अध्ययन शुरू किया गया।

भारतीय रेलवे और डीएमआरसी ने स्वचालित व्हील प्रोफाइल मापन प्रणाली के लिए समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए

भारतीय रेलवे ने स्वचालित व्हील प्रोफाइल मापन प्रणाली (एडब्ल्यूपीएमएस) की खरीद और स्थापना के लिए दिल्ली मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन (डीएमआरसी) के साथ समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर करके रोलिंग स्टॉक रखरखाव में स्वचालन और दक्षता की दिशा में एक बड़ा कदम उठाया है। यह समझौता नई दिल्ली स्थित रेल भवन में औपचारिक रूप किया गया। एडब्ल्यूपीएमएस एक उन्नत प्रणाली है जो ट्रेन के पहियों की प्रोफाइल को स्वचालित और गैर-संपर्क तरीके से मापन की सुविधा प्रदान करती है, जिससे पहियों की ज्यामिति और घिसाव का वास्तविक समय पर आकलन सुनिश्चित होता है। लेजर स्कैनर और हाई-स्पीड कैमरों का उपयोग करके यह प्रणाली बिना किसी मैनुअल हस्तक्षेप के सटीक और त्वरित माप प्रदान करती है। विचलन की किसी भी स्थिति में, स्वचालित अलर्ट प्रणाली समय पर सुधारात्मक कार्रवाई सुनिश्चित करेगी, जिससे सुरक्षा और परिचालन दक्षता दोनों में वृद्धि होगी।

स्टैंड-अप इंडिया के 7 वर्ष

5 अप्रैल 2016 को अपने आरंभ के बाद से, स्टैंड-अप इंडिया योजना अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति और महिला उद्यमियों को सशक्त बनाने के उद्देश्य पर है। इसका उद्देश्य नए व्यवसाय शुरू करने में मदद करने के लिए बैंक लोन प्रदान करके बाधाओं को तोड़ना है। बीते 7 वर्षों में, इस योजना ने न केवल व्यवसायों को वित्त पोषित किया है - इसने सपनों को पोषित किया है, आजीविका का सृजन किया है और पूरे भारत में समावेशी विकास को आगे बढ़ाया है। स्टैंड-अप इंडिया योजना ने पिछले कुछ वर्षों में उल्लेखनीय बढ़ोतरी दिखाई है, जिसकी शुरुआत के बाद से स्वीकृत कुल राशि 31 मार्च 2019 तक 16,085.07 करोड़ रुपये से बढ़कर 17 मार्च 2025 तक 61,020.41 करोड़ रुपये हो गई। यह एक महत्वपूर्ण बढ़ोतरी को दर्शाता है, जो देश भर में उद्यमियों को सशक्त बनाने में योजना के बढ़ते प्रभाव को दर्शाता है। स्टैंड-अप इंडिया योजना एक बदलावकारी पहल रही है, जिसने अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति और महिला उद्यमियों को अपने व्यावसायिक विचारों को हकीकत में बदलने के लिए सशक्त बनाया है। लोन स्वीकृति और वितरण में महत्वपूर्ण उपलब्धियों के साथ, यह समावेशी विकास को प्रोत्साहन देना जारी रखता है। यह योजना केवल लोन के बारे में नहीं है; यह अवसर पैदा करने, बदलाव को प्रेरित करने और आकांक्षाओं को उपलब्धियों में बदलने के बारे में है।

रेलवे स्टेशन पर सौर ऊर्जा संयंत्र स्थापना में राजस्थान अग्रणी

राजस्थान, देश में रेलवे स्टेशनों पर सौर ऊर्जा संयंत्र को लगाने में सबसे अग्रणी राज्य है। राज्य के 275 रेलवे स्टेशनों पर सौर ऊर्जा संयंत्र किए गए हैं,जो देश में सबसे ज़्यादा है। यह जानकारी केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने 2 अप्रैल 2025 को लोकसभा में दी। भारत सरकार के अनुसार, वित्तीय वर्ष 2024-25 के दौरान देश में 25 गीगावाट (जी डबल्यू) अतिरिक्त अक्षय ऊर्जा जोड़ी गई, जिसमें से 6 गीगावाट, सौर ऊर्जा थी। 31 मार्च 2025 तक देश में कुल स्थापित सौर ऊर्जा क्षमता बढ़कर 21 गीगावाट हो गई है। भारतीय रेलवे ने 2025-26 तक 100% विद्युतीकरण प्राप्त करने का लक्ष्य निर्धारित किया है। रेलवे का लक्ष्य 2030 तक शुद्ध-शून्य कार्बन उत्सर्जक बनना है। इस लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए , रेलवे, अपने ऊर्जा की ज़रूरत को अक्षय ऊर्जा के माध्यम से पूरा करेगा ,जिसमे सौर और पवन ऊर्जा का मिश्रण होगा। रेलवे विभिन्न स्वतंत्र बिजली उत्पादकों के साथ दीर्घकालिक बिजली खरीद समझौते के माध्यम से अपनी अक्षय ऊर्जा की मांग को पूरा करेगा। यह अपने स्टेशनों की छतों पर सौर ऊर्जा संयंत्र भी लगाएगा और अपनी खाली जमीनों का भी उपयोग करेगा। भारतीय रेलवे 2030 तक अपनी खाली जमीनों का उपयोग करके 20 गीगावाट सौर ऊर्जा संयंत्र स्थापित करने ल लक्ष्य रखा है।

हंगरी आईसीसी से हटने वाला पहला यूरोपीय देश बना

हंगरी के प्रधानमंत्री विक्टर ओरबान ने 3 अप्रैल 2025 को घोषणा कीहै कि उनका देश अंतर्राष्ट्रीय आपराधिक न्यायालय (आईसीसी) से बाहर हो रहा है। हंगरी अंतर्राष्ट्रीय आपराधिक न्यायालय से हटने वाला पहला यूरोपीय देश है, जिसकी स्थापना 2002 में हुई थी। हंगरी के प्रधानमंत्री के अनुसार, उनके देश ने आईसीसी से हटने का फैसला इसलिए किया क्योंकि यह न्यायालय अब एक राजनीतिक हथियार बन गया है। आईसीसी का संस्थापक सदस्य और 1998 के रोम संविधि पर हस्ताक्षरकर्ता होने के नाते हंगरी प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू को गिरफ्तार करने के लिए बाध्य था। आईसीसी से हटने के हंगरी के निर्णय के साथ, देश बेंजामिन नेतन्याहू को गिरफ्तार करने के लिए बाध्य नहीं है।

स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय ने एआरवी और एएसवी की उपलब्धता पर नज़र रखने के लिए ‘ज़ूविन’ पोर्टल लॉन्च किया

मार्च 2025 में, स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय (एमओएचएफडब्ल्यू) ने ‘ज़ूविन’ लॉन्च किया, जो पूरे भारत में एंटी-रेबीज वैक्सीन (एआरवी) और एंटी-स्नेक वेनम (एएसवी) की वास्तविक समय उपलब्धता की निगरानी करने के लिए एक डिजिटल प्लेटफ़ॉर्म है, ताकि कुशल वितरण सुनिश्चित किया जा सके और स्वास्थ्य सुविधाओं में कमी को रोका जा सके। यह प्लेटफ़ॉर्म 2023 में शुरू की गई राष्ट्रीय कार्य योजना के साथ संरेखित है, जिसे ‘वन हेल्थ’ दृष्टिकोण के माध्यम से 2030 तक सांप के काटने से होने वाली मौतों और विकलांगता को आधा करने के लिए शुरू किया गया है।

उप सीएजी शिवसुब्रमण्यम रमण को पीएफआरडीए का अध्यक्ष नियुक्त किया गया

भारत सरकार ने वर्तमान उप नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक (सीएजी), शिवसुब्रमण्यम रमन को पेंशन फंड विनियामक और विकास प्राधिकरण (पीएफ़आरडीए) का अध्यक्ष नियुक्त किया है। शिवसुब्रमण्यम रमन वर्तमान अध्यक्ष दीपक मोहंती की जगह लेंगे, जिनका कार्यकाल मई 2025 में समाप्त हो रहा है। वित्तीय क्षेत्र विनियामक नियुक्ति खोज समिति (एफ़एसआरएएससी) की सिफारिश पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता वाली कैबिनेट की नियुक्ति समिति ने शिवसुब्रमण्यम रमन के नाम को मंजूरी दी। पेंशन फंड विनियामक और विकास प्राधिकरण (अध्यक्ष और पूर्णकालिक सदस्यों को देय वेतन और भत्ते तथा सेवा की अन्य शर्तें) संशोधन नियम, 2014 के अनुसार, पीएफआरडीए के अध्यक्ष की नियुक्ति केंद्र सरकार द्वारा वित्तीय क्षेत्र विनियामक नियुक्ति खोज समिति (एफएसआरएएससी) की सिफारिश पर की जाएगी। एफएसआरएसी में सात सदस्य होते हैं और इसका नेतृत्व कैबिनेट सचिव करते हैं।

राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने RBI की 90वीं वर्षगांठ पर स्मारक डाक टिकट जारी किया

1 अप्रैल, 2025 को, भारत की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने मुंबई (महाराष्ट्र) में नेशनल सेंटर फॉर द परफॉर्मिंग आर्ट्स (NCPA) में भारतीय रिज़र्व बैंक (RBI) की 90वीं वर्षगांठ के अवसर पर 5 रुपये मूल्य के एक विशेष डाक टिकट का अनावरण किया। RBI की 90वीं वर्षगांठ इसकी यात्रा में एक मील का पत्थर है, जो आर्थिक स्थिरता, वित्तीय विकास और भारत की वित्तीय प्रणाली में विश्वास को बढ़ावा देने के लिए इसके समर्पण को मजबूत करती है। इस कार्यक्रम में केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य एम. सिंधिया, संचार मंत्रालय (MoC) और पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास मंत्रालय (MDoNER) और महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री (CM) देवेंद्र फड़नवीस और अन्य गणमान्य व्यक्ति शामिल हुए।

भारत और नेपाल ने नेपाल में 625 मिलियन नेपाली रुपये के अनुदान के तहत 10 उच्च प्रभाव सामुदायिक विकास परियोजनाओं (HICDP) के लिए समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए

1 अप्रैल, 2025 को, काठमांडू (नेपाल) में भारतीय दूतावास ने नेपाल सरकार के संघीय मामलों और सामान्य प्रशासन मंत्रालय और अन्य परियोजना कार्यान्वयन एजेंसियों के सहयोग से नेपाल में 10 उच्च प्रभाव सामुदायिक विकास परियोजनाओं (HICDP) को शुरू करने के लिए समझौता ज्ञापन (MoU) पर हस्ताक्षर किए हैं। भारत सरकार (GoI) की अनुदान सहायता के तहत समर्थित ये परियोजनाएँ शिक्षा, स्वास्थ्य और संस्कृति क्षेत्रों पर ध्यान केंद्रित करती हैं, जिनकी कुल अनुमानित लागत 625 मिलियन नेपाली रुपये (NRs) है। यह पहल नेपाल में बुनियादी ढांचे और सामुदायिक विकास को जमीनी स्तर पर बढ़ाने के लिए भारत की चल रही प्रतिबद्धता का हिस्सा है।

एससी रल्हन को 2027 तक FIEO का अध्यक्ष नियुक्त किया गया

1 अप्रैल, 2025 को, सुभाष चंदर (एससी) रल्हन को वाणिज्य और उद्योग मंत्रालय (MoC&I) के तहत नई दिल्ली (दिल्ली) में मुख्यालय वाले भारतीय निर्यात संगठनों के महासंघ (FIEO) का अध्यक्ष नियुक्त किया गया। वह अश्विनी कुमार का स्थान लेंगे और 31 मार्च, 2027 तक इस पद पर रहेंगे। उनके साथ, रविकांत श्यामसुंदर कपूर ने FIEO के उपाध्यक्ष (VP) का पद संभाला है। उन्होंने इसरार अहमद का स्थान लिया।

ध्रुव स्पेस और इन्फोस्टेलर ने सैटेलाइट संचार को बढ़ाने के लिए सहयोग किया

मार्च 2025 में, हैदराबाद (तेलंगाना) स्थित ध्रुव स्पेस प्राइवेट लिमिटेड ने टोक्यो (जापान) स्थित इन्फोस्टेलर के साथ मिलकर हैदराबाद में ध्रुव स्पेस के 3.8-मीटर (एम) एसएंडएक्स-बैंड ग्राउंड स्टेशन एंटीना को इन्फोस्टेलर के स्टेलरस्टेशन प्लेटफॉर्म में एकीकृत किया। इस साझेदारी का उद्देश्य इन्फोस्टेलर के वैश्विक ग्राउंड स्टेशन नेटवर्क का विस्तार करना और सैटेलाइट संचार इंटरऑपरेबिलिटी को बढ़ाना है। यह एकीकरण झुकी हुई कक्षाओं में लो अर्थ ऑर्बिट (LEO) उपग्रहों का समर्थन करता है, जिससे महत्वपूर्ण मिशनों के लिए डेटा डाउनलिंक दक्षता का अनुकूलन होता है।

आईसीएआर-सीटीसीआरआई ने जनजातीय खाद्य सुरक्षा को बढ़ावा देने के लिए नया बायोफोर्टिफाइड शकरकंद विकसित किया

मार्च 2025 में, भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद - केंद्रीय कंद फसल अनुसंधान संस्थान (आईसीएआर-सीटीसीआरआई), जिसका मुख्यालय तिरुवनंतपुरम (केरल) में है, ने जनजातीय क्षेत्रों में खाद्य सुरक्षा कार्यक्रमों को मजबूत करने के लिए एक नई नारंगी-मांस वाली शकरकंद किस्म (एसपी-95/4) विकसित की है।
एसपी-95/4 की मुख्य विशेषताएं:
उच्च बीटा-कैरोटीन सामग्री (8 मिलीग्राम (एमजी) / 100 ग्राम (जी)): जनजातीय क्षेत्रों में प्रचलित विटामिन ए की कमी से निपटने में मदद करता है।
औसत कंद वजन (300 ग्राम): फ्यूसीफॉर्म आकार इसे प्रसंस्करण के लिए उपयुक्त बनाता है।
बहु-राज्य अनुकूलनशीलता: ओडिशा, पश्चिम बंगाल (डब्ल्यूबी), कर्नाटक और केरल में सफलतापूर्वक परीक्षण किया गया।

असम ने महिला उद्यमियों को सशक्त बनाने के लिए ‘मुख्यमंत्री महिला उद्यमिता अभियान’ शुरू किया

1 अप्रैल, 2025 को असम के मुख्यमंत्री (CM), हिमंत बिस्वा सरमा ने बेहाली (असम) में ‘मुख्यमंत्री महिला उद्यमिता अभियान’ (MMMUA) का उद्घाटन किया। उद्घाटन समारोह में, 23,375 महिलाओं को उनके पहले चेक मिले, जो कार्यक्रम के कार्यान्वयन की शुरुआत को चिह्नित करते हैं। इस योजना का उद्देश्य राज्य में महिलाओं के बीच स्वरोजगार और आर्थिक स्वतंत्रता को बढ़ावा देना है, जो इसे असम में अपनी तरह के सबसे बड़े प्रयासों में से एक के रूप में चिह्नित करता है। CM महिला उद्यमिता अभियान के रूप में जानी जाने वाली यह पहल महिलाओं को अपना खुद का व्यवसाय शुरू करने और विकसित करने के लिए वित्तीय सहायता प्रदान करके सशक्त बनाने के लिए बनाई गई है। MMMUA महिला उद्यमियों को समर्थन देने के लिए एक संरचित तीन-चरणीय वित्तीय सहायता कार्यक्रम है:
i.पहला वर्ष: प्रत्येक लाभार्थी को कृषि, पशुधन और छोटे व्यवसायों जैसे क्षेत्रों में सूक्ष्म उद्यमों को शुरू करने या विस्तार करने के लिए 10,000 रुपये की बीज पूंजी मिलती है।
ii.दूसरा वर्ष: प्रारंभिक निधियों के प्रभावी उपयोग का प्रदर्शन करने पर, लाभार्थी अतिरिक्त 25,000 रुपये के लिए पात्र हो जाते हैं, जिसमें 12,500 रुपये बैंक ऋण के रूप में और समान राशि सरकारी सहायता के रूप में शामिल है। राज्य सरकार बैंक ऋण पर ब्याज का भुगतान करेगी।
iii.तीसरा वर्ष: सफल उद्यमी अपने उद्यमों को बढ़ाने के लिए अतिरिक्त 50,000 रुपये के लिए पात्र होंगे।

विश्‍व कप निशानेबाजी टूर्नामेंट में एशियाई खेलों के पदक विजेता चैन सिंह ने भारत के लिए पहला पदक हासिल किया

अर्जेंटीना के ब्‍यूनस ऑयर्स में विश्‍व कप निशानेबाजी टूर्नामेंट में एशियाई खेलों के पदक विजेता चैन सिंह ने भारत के लिए पहला पदक हासिल किया। पुरुषों की पचास मीटर राइफल-थ्री पॉजिशन स्‍पर्धा में उन्‍होंने 443.7 अंक लेकर कांस्‍य पदक अपने नाम किया। हंगरी के इस्‍तावन पेनी ने 461 अंकों के साथ स्‍वर्ण और चीन के तियांग जियामिंग ने 458.8 अंकों के साथ रजत पदक हासिल किया। इससे पहले दो बार के ओलिम्पियन ऐश्‍वर्य प्रताप सिंह तोमर, नीरज कुमार और रियो ओलिम्पिक में शामिल होने वाले चैन सिंह ने फाइनल के लिए क्‍वालीफाई कर लिया।

मुक्केबाज़ी विश्व कप-2025 के फाइनल में पहुंचने वाले पहले मुक्केबाज़ बने भारत के हितेश

भारत के हितेश, ब्राज़ील में मुक्केबाज़ी विश्व कप-2025 के फाइनल में पहुंचने वाले पहले मुक्केबाज़ बन गए हैं। उन्होंने सेमीफाइनल में 70 किलोग्राम भार वर्ग में फ्रांस के माकन ट्राओर को हराया। इस बीच, अन्य भारतीय मुक्केबाज़ों जदुमनी सिंह, सचिन सिवाच और विशाल ने अपने-अपने भार वर्ग में कांस्य पदक जीते।

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