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भारत में मेट्रो रेल नेटवर्क का तेजी से विस्तार हो रहा है। अब देश में मेट्रो रेल नेटवर्क की कुल लंबाई बढ़कर 1000 किमी तक पहुंच गई है। इस बड़े नेटवर्क के साथ, भारत अब चीन और अमेरिका के बाद दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा मेट्रो रेल नेटवर्क वाला देश बन गया है। दिल्ली ने 2002 में अपनी मेट्रो यात्रा की शुरुआत की थी, जब पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने दिल्ली के लोगों को पहली मेट्रो दी और आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी दिल्ली वासियों को नई मेट्रो परियोजनाओं और नमो भारत का उपहार दे रहे हैं। पिछले दशक में मेट्रो नेटवर्क में तीन गुना वृद्धि हुई है। मेट्रो नेटवर्क 2014 में केवल 248 किलोमीटर से बढ़कर अब 1000 किलोमीटर हो गया है। आज 11 राज्यों के 23 शहरों में मेट्रो रेल नेटवर्क है। 2014 में यह केवल 5 राज्यों और 5 शहरों में था। 1984 में भारत में पहली मेट्रो लाइन कोलकाता में खुली, जो एस्प्लेनेड और भवानीपुर के बीच 3.4 किलोमीटर लंबी थी। यह भारत में मेट्रो जीवन की शुरुआत थी। 2002 में डीएमआरसी ने दिल्ली में शाहदरा और तीस हजारी के बीच अपना पहला मेट्रो कॉरिडोर खोला, जिसने देश के सबसे बड़े मेट्रो नेटवर्क में से एक के लिए मंच तैयार किया।
प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने स्वास्थ्य देखभाल को आगे बढ़ाने और पारंपरिक चिकित्सा को बढ़ावा देने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम के रूप में रोहिणी में केंद्रीय आयुर्वेद अनुसंधान संस्थान की आधारशिला रखी और इसे "आयुर्वेद की अगली बड़ी छलांग" करार दिया। 1979 में स्थापित केंद्रीय आयुर्वेद अनुसंधान संस्थान आयुर्वेद में नैदानिक अनुसंधान में अग्रणी रहा है, यह विशेष रूप से निवारक हृदय रोग और गैर-संचारी रोगों (एनसीडी) पर ध्यान केंद्रित करता है। यह संस्थान कई वर्षों से नई दिल्ली के पंजाबी बाग में किराए के परिसर से संचालित हो रहा है।
हाल ही में भारत और पाकिस्तान ने तनावपूर्ण राजनयिक संबंधों के बावज़ूद परमाणु प्रतिष्ठानों की सूचियों का आदान-प्रदान किया तथा कैदियों और मछुआरों का विवरण साझा किया। कैदियों और मछुआरों की सूचियों का आदान-प्रदान वर्ष 2008 के कांसुलरी एक्सेस समझौते के तहत अनिवार्य है, जो प्रत्येक दो वर्ष में 1 जनवरी और 1 जुलाई को होता है। परमाणु प्रतिष्ठानों की सूचियों का आदान-प्रदान परमाणु प्रतिष्ठानों पर हमले के प्रतिषेध समझौते, 1988 के तहत हुआ। यह लगातार 34वाँ आदान-प्रदान था, पहला आदान -प्रदान 1 जनवरी 1992 को हुआ था। 31 दिसंबर, 1988 को हस्ताक्षरित तथा 27 जनवरी 1991 से प्रभावी इस समझौते के अंतर्गत भारत और पाकिस्तान को प्रतिवर्ष 1 जनवरी को परमाणु स्थापना के विवरण का आदान-प्रदान करना आवश्यक है। हालाँकि दोनों में से किसी भी देश ने परमाणु प्रतिष्ठानों का विवरण नहीं बताया है। कांसुलर संबंधों पर वियना कन्वेंशन, 1963 के अनुच्छेद 36 में यह अनिवार्य किया गया है कि गिरफ्तार या हिरासत में लिये गए विदेशी नागरिकों को उनके दूतावास या वाणिज्य दूतावास को अधिसूचित करने के उनके अधिकार के बारे में शीघ्र सूचित किया जाना चाहिये।
हाल ही में केरल और तमिलनाडु के मुख्यमंत्रियों ने वायकोम में पुनर्निर्मित थांथाई पेरियार स्मारक का उद्घाटन किया, जो तमिल सुधारवादी ई.वी. रामासामी नायकर, जिन्हें थांथाई पेरियार के नाम से जाना जाता है, के योगदान को याद करने वाला एक महत्त्वपूर्ण स्थल है। यह स्मारक थांथाई पेरियार स्मृति में निर्मित किया गया है, जिन्होंने अप्रैल 1924 में भारत में 'अछूत' समुदायों के अधिकारों के लिये पहले संगठित आंदोलन के रूप में पहचाने जाने वाले वायकोम सत्याग्रह में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाई थी। पेरियार की सक्रियता के कारण उन्हें आंदोलन में भाग लेने के लिये दो बार जेल जाना पड़ा, जिससे उन्हें 'वायकोम वीरन' की उपाधि मिली। पुनर्निर्मित स्मारक में एक नया पुस्तकालय और पेरियार की जीवनी, द्रविड़ आंदोलन का इतिहास एवं प्रमुख नेताओं के साथ उनके संबंधों का विवरण देने वाली सामग्री शामिल है। वायकोम सत्याग्रह 30 मार्च 1924 से 23 नवंबर 1925 तक वायकोम, केरल में आयोजित एक शांतिपूर्ण विरोध का नेतृत्व दूरदर्शी नेता टीके माधवन, केपी केशव मेनन और के. केलप्पन ने किया था। इन्होंने आत्म-सम्मान आंदोलन और द्रविड़ कझगम की शुरुआत की, इन्हें 'द्रविड़ आंदोलन के जनक' के रूप में जाना जाता है।
असम में हाथियों की आबादी में वृद्धि हुई है और यह संख्या 5,828 हो गई है। इसकी घोषणा असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने की, जिसमें बताया गया है कि असम वन विभाग ने हाल ही में राज्य में 2024 के लिए हाथियों की आबादी का अनुमान पूरा किया है। मुख्यमंत्री ने सरमा ने कहा कि हाल ही में असम में 2024 के लिए हाथियों की आबादी का अनुमान लगाया है। 7 साल बाद किए गए इस सर्वेक्षण में हाथियों की संख्या 5,719 से बढ़कर 5,828 हो गई है। उन्होंने हाथियों के संरक्षण में वन विभाग के प्रयासों की भी प्रशंसा की। यह सर्वेक्षण सात साल के अंतराल के बाद किया गया था। रिपोर्ट के अनुसार, कुल जनसंख्या का 82 प्रतिशत (4,777 हाथी) पांच हाथी अभ्यारण्यों में निवास करते हैं, जो संरक्षण में उनके महत्वपूर्ण योगदान को रेखांकित करता है। चिरांग-रिपु हाथी अभ्यारण्य में प्रति 100 वर्ग किमी में 79 हाथियों के साथ सबसे अधिक घनत्व दर्ज किया गया।
भारतीय सिनेमा की प्रख्यात निर्देशक और लेखिका साई परांजपे को अजंता-एलोरा अंतर्राष्ट्रीय फिल्म महोत्सव (AIFF) 2025 में पद्मपाणि लाइफटाइम अचीवमेंट अवॉर्ड से सम्मानित किया जाएगा। अपनी बेहतरीन जीवन की वास्तविकता को दर्शाने वाली फिल्मों जैसे स्पर्श, चश्मे बद्दूर, कथा, और साज़ के लिए मशहूर परांजपे को भारत के समानांतर सिनेमा आंदोलन की एक प्रमुख हस्ती माना जाता है, जिसने 1970 और 1980 के दशकों में विशेष पहचान बनाई। यह पुरस्कार भारतीय सिनेमा और मराठी साहित्य में उनके व्यापक योगदान को मान्यता देता है। AIFF का 10वां संस्करण 15 से 19 जनवरी 2025 के बीच छत्रपति संभाजीनगर में आयोजित होगा, जहां परांजपे को उद्घाटन समारोह के दौरान यह प्रतिष्ठित सम्मान प्रदान किया जाएगा।
हाल ही में अखिल भारतीय तकनीकी शिक्षा परिषद (AICTE) ने भारत को AI में वैश्विक नेतृत्वकर्त्ता के रूप में स्थापित करने के लिये वर्ष 2025 को "कृत्रिम बुद्धिमत्ता वर्ष" के रूप में नामित किया है। AICTE का लक्ष्य अद्यतन पाठ्यक्रम, संकाय हेतु कार्यशालाओं और वास्तविक विश्व के प्रदर्शन के लिये AI-संचालित कंपनियों के साथ सहयोग के माध्यम से शिक्षा में AI को बढ़ावा देना है। इस पहल के मुख्य तत्वों में AI एफर्मेशन प्लेज़, व्यापक AI एकीकरण, AI जागरूकता अभियान, संकाय विकास और औद्योगिक भागीदारी, उत्कृष्ट मान्यताएँ शामिल हैं। यह पहल 14,000 से अधिक कॉलेजों और 40 मिलियन छात्रों को प्रभावित करेगी, जिसका उद्देश्य उच्च शिक्षा में AI को एकीकृत करना और नवाचार एवं नेतृत्व को बढ़ावा देना है। सरकार ने उपभोक्ता संरक्षण को बढ़ाने के लिये AI-सक्षम उपकरण और सुरक्षा उपाय शुरू किये, जिसमें राष्ट्रीय उपभोक्ता हेल्पलाइन, ई-मैप पोर्टल और जागो-ग्राहक-जागो मोबाइल एप्लीकेशन तथा ई-कॉमर्स में भ्रामक विपणन को विनियमित करने के लिये दिशानिर्देश शामिल हैं।
हाल ही में विक्रम साराभाई अंतरिक्ष केंद्र (VSSC) द्वारा डिजाइन की गई एक ध्रुवीय सूर्यघड़ी को केरल के थुंबा स्थित अंतरिक्ष संग्रहालय के 'रॉकेट गार्डन' में प्रदर्शित किया गया है। यह सूर्यघड़ी एक शैक्षणिक उपकरण के रूप में कार्य करती है, जो जटिल खगोलीय अवधारणाओं को दृश्यात्मक रूप से आकर्षक ढंग से प्रदर्शित करती है। सूर्यघड़ी में एनालेमेटिक सुधार की सुविधा है, जिससे यह भारतीय मानक समय (IST) और तारीख को सटीक रूप से प्रदर्शित कर सकती है। पारंपरिक सूर्यघड़ी के विपरीत, यह सूर्यघड़ी सीधी घंटे की रेखाओं को पर उल्टे एनालेम्मा वक्र से बदल देती है, जो पूरे वर्ष स्थानीय सौर समय को स्वचालित रूप से औसत सौर समय में परिवर्तित कर देती है। एनालेम्मा सुधार, पृथ्वी के झुकाव और दीर्घवृत्तीय कक्षा के कारण, एक वर्ष के दौरान आकाश में सूर्य द्वारा बनाए गए आठ के आकार के पैटर्न पर आधारित है। सूर्यघड़ी को ध्रुवीय विन्यास के साथ डिजाइन किया गया है, जहाँ सूर्यघड़ी प्लेट को पृथ्वी के ध्रुवीय अक्ष के समानांतर संरेखित किया गया है और थुंबा के अक्षांश के आधार पर एक कील के आकार की संरचना से जोड़ा गया है। इस सूर्यघड़ी में रोहिणी शृंखला के RH200 साउंडिंग रॉकेट का 1.6 फीट ऊँचा, 3D-मुद्रित लघु संस्करण अंकित है।
नोमुरा ने भारत के वित्तीय वर्ष 2025 की GDP वृद्धि के अपने अनुमान को 6.9% से घटाकर 6.7% कर दिया है। यह संशोधन अप्रैल-जून तिमाही के धीमे विकास दर के आंकड़ों के बाद किया गया, जहां GDP वृद्धि 6.7% दर्ज की गई, जो पिछली तिमाही के 7.8% से कम थी।
भारतीय वाणिज्य एवं उद्योग मंडल (ASSOCHAM), जो भारत के सबसे पुराने शीर्ष व्यावसायिक मंडलों में से एक है (स्थापना 1920), ने मनीष सिंघल को अपना नया महासचिव नियुक्त किया है। सिंघल, जिनके पास 35 वर्षों से अधिक का अनुभव है, दीपक सूद का स्थान लेंगे, जिन्होंने पांच वर्षों तक सेवा की और मंडल के संचालन में सुधार कर एक मजबूत वित्तीय नींव छोड़ी। सिंघल का करियर टाटा मोटर्स, आयशर (वोल्वो), और फिक्की जैसी प्रतिष्ठित संस्थाओं में नेतृत्व भूमिकाओं तक फैला है, जहां वे उप महासचिव थे।
Blinkit के सीईओ अल्बिंदर धिंदसा ने गुरुग्राम में एक त्वरित एंबुलेंस सेवा की शुरुआत की घोषणा की है, जहां निवासी Blinkit ऐप के माध्यम से एंबुलेंस बुक कर सकते हैं, जो 10 मिनट के भीतर पहुंचेगी। यह पहल शहरी क्षेत्रों में आपातकालीन चिकित्सा परिवहन की महत्वपूर्ण आवश्यकता को पूरा करने के उद्देश्य से की गई है। यह सेवा, जिसमें बेसिक लाइफ सपोर्ट (BLS) एंबुलेंस शामिल हैं, तेज और विश्वसनीय चिकित्सा सहायता प्रदान करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
भारतीय स्टेट बैंक ने दो नई स्कीम की शुरुआत की है। यह दोनों योजनाएं कस्टमर्स को ब्याजऔर कई अन्य सुविधाएं भी प्रोवाइड कराएंगे। SBI की ये दो योजना- हर घर लखपति आरडी योजना (Har Ghar Lakhpati RD scheme) और एसबीआई पैट्रन्स एफडी योजना (SBI Patrons FD scheme) है। हर घर लखपति एक प्री कैलकुलेट की गई रेकरिंग डिपॉजिट योजना है, जिसे कस्टमर्स को 1 लाख रुपये या उसके गुणकों में जमा करने में मदद करने के लिए तैयार किया गया है। 'एसबीआई पैट्रन्स' एक फिक्स्ड डिपॉजिट योजना (Fixed Deposit Scheme) है, जो खासतौर पर 80 साल और उससे अधिक आयु के सीनियर सिटीजन के लिए है।
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