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ब्रिटेन के प्रधानमंत्री ऋषि सुनक ने निर्धारित समय से पहले ही 4 जुलाई को संसद का चुनाव कराने की घोषणा की है। उन्होंने कहा है कि यह ब्रिटेन में संसद के निचले सदन हाउस ऑफ कॉमन्स के लिए चुनाव का सही समय है। हाउस ऑफ कॉमन्स में 650 सदस्य हैं। उन्होंने यह घोषणा ब्रिटेन में महंगाई दर गिरकर 2.3 प्रतिशत रह जाने के बाद की गई है, जो पिछले तीन वर्ष में सबसे कम है।
नॉर्वे, स्पेन और आयरलैंड की सरकारों ने 22 मई 2024 को घोषणा की है कि वे फ़िलिस्तीनी राज्य को मान्यता देंगे। त्वरित प्रतिक्रिया में, इजरायली सरकार ने इस कदम की निंदा की, जबकि फिलिस्तीनियों ने इसका स्वागत किया। एक स्वतंत्र फ़िलिस्तीनी राज्य की तीन देशों द्वारा आधिकारिक मान्यता 28 मई 2024 को प्रभावी होगी। तीन यूरोपीय देशों में नॉर्वे फ़िलिस्तीनी राज्य की मान्यता की घोषणा करने वाला पहला देश था। नॉर्वे के प्रधान मंत्री, जोनास गहर स्टोरे ने कहा कि फिलिस्तीनी राज्य को मान्यता दिए बिना क्षेत्र में कोई शांति नहीं हो सकती है। नॉर्वे दो-राज्य समाधान का समर्थन करता है, जो इज़राइल राज्य के साथ फिलिस्तीन के एक स्वतंत्र देश अस्तित्व को स्वीकार करता है। इज़राइल और फिलिस्तीनी नेतृत्व के बीच 1993 का ऐतिहासिक ओस्लो शांति समझौता दो-राज्य समाधान की आवश्यकता को स्वीकार करता है।
भारतीय वन्यजीव संस्थान की हालिया रिपोर्ट के अनुसार, गंगा नदी बेसिन में 4000 से अधिक डॉल्फ़िन पायी गई हैं। गंगा नदी और उसकी सहायक नदियों में पाई जाने वाली नदी डॉल्फ़िन में से 2000 से अधिक अकेले उत्तर प्रदेश में पाई जाती हैं। उत्तर प्रदेश में डॉल्फ़िन मुख्यतः चम्बल नदी में पाई जाती हैं। विशेषज्ञों के अनुसार, गंगा नदी घाटियों में डॉल्फ़िन की संख्या में उल्लेखनीय वृद्धि से संकेत मिलता है कि नदी के प्रदूषण स्तर में गिरावट आ रही है और सरकार के संरक्षण प्रयास रंग ला रहे हैं। गंगा नदी डॉल्फिन को ब्लाइंड डॉल्फिन, गंगा सुसु या हिहु के नाम से भी जाना जाता है। इसका वैज्ञानिक नाम प्लैटनिस्टा गैंगेटिका है। ऐतिहासिक रूप से, गंगा डॉल्फिन गंगा-ब्रह्मपुत्र-मेघना और कर्णफुली-सांगु नदी प्रणालियों में पाई जाती थी। वर्तमान में, गंगा डॉल्फिन भारत की गंगा-ब्रह्मपुत्र-बराक नदी प्रणाली, नेपाल की करनाली, सप्त कोशी और नारायणी नदी प्रणाली और बांग्लादेश की मेघना, कर्णफुली और सांगु नदी प्रणाली के कुछ हिस्सों में पाई जाती है। भारत के भीतर, यह मुख्य रूप से गंगा नदी और उसकी सहायक नदियों, घाघरा, कोसी, गंडक, चंबल, रूपनारायण और यमुना की मुख्यधारा में पाया जाता है।
कलकत्ता उच्च न्यायालय ने 2010 से पश्चिम बंगाल में जारी अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) के सभी प्रमाण पत्रों को रद्द कर दिया है। ओबीसी प्रमाण पत्र जारी करने की प्रक्रिया को चुनौती देने वाली जनहित याचिका पर उच्च न्यायालय की खंडपीठ ने 2010 के बाद तैयार की गई ओबीसी सूची को गैरकानूनी बताया। न्यायालय ने पश्चिम बंगाल पिछड़ा वर्ग आयोग को पश्चिम बंगाल पिछड़ा वर्ग आयोग अधिनियम-1993 के आधार पर ओबीसी की नई सूची तैयार करने के निर्देश दिये। न्यायालय ने स्पष्ट किया कि जो लोग पहले से सेवा में हैं या आरक्षण के लाभार्थी हैं अथवा राज्य की भर्ती प्रक्रिया में सफल घोषित किए गए हैं, उनकी सेवा इस फैसले से प्रभावित नहीं होंगी। न्यायालय ने यह भी स्पष्ट किया कि 2010 से पहले ओबीसी के 66 वर्गों को श्रेणीकृत करने वाला राज्य सरकार का आदेश बरकरार रहेगा क्योंकि जनहित याचिकाओं में इसे चुनौती नहीं दी गई है। 2011 में दायर जनहित याचिका में कहा गया था कि 2010 के बाद जारी ओबीसी प्रमाण-पत्रों में, पश्चिम बंगाल पिछड़ा वर्ग आयोग अधिनियम की अनदेखी की गई है।
23 मई 2024 को सिक्किम में बुद्ध पूर्णिमा के अवसर पर सागा दावा का त्योहार हर्ष और उल्लास के साथ मनाया जा रहा है। सागा दावा को ‘ट्रिपल ब्लेस्ड फेस्टिवल’ के नाम से भी जाना जाता है जो हर साल तिब्बती बौद्ध कैलेंडर के चौथे महीने के 15वें दिन पड़ता है। तिब्बती भाषा में सागा का मतलब चौथा और दावा का मतलब महीना होता है। यह सबसे पवित्र बौद्ध त्योहार है, जो बुद्ध शाक्यमुनि के जन्म, ज्ञानोदय और महापरिनिर्वाण (निधन) की स्मृति में मनाया जाता है। इस महीने के दौरान, सिक्किम के बौद्ध राज्य के विभिन्न मठों में प्रार्थना करते हैं।
21 मई को शॉ पुरस्कार फाउंडेशन ने अमेरिका में खगोल विज्ञान के भारतवंशी प्रोफेसर श्रीनिवास आर कुलकर्णी को एस्ट्रोनॉमी में शॉ पुरस्कार 2024 देने की घोषणा की। उन्हें मिलीसेकंड पल्सर, गामा-रे विस्फोट, सुपरनोवा जैसी घटनाओं पर स्टडी करने के लिए जाना जाता है। 2006 से 2018 तक कैलटेक ऑप्टिकल ऑब्जर्वेटरीज के डायरेक्टर के रूप में काम किया। श्रीनिवास आर कुलकर्णी को यह अवॉर्ड 12 नवंबर 2024 को हांगकांग में आयोजित समारोह में दिया जाएगा। श्रीनिवास के अलावा अमेरिका के स्वी ले थीन और स्टुअर्ट आर्किन को बायोलॉजी के लिए यह अवॉर्ड मिलेगा। मैथमेटिक्स साइंस के लिए पीटर सरनाक को शॉ पुरस्कार से सम्मानित किया जाएगा। 2002 में हांगकांग के रन रन शॉ ने इंटरनेशनल अवॉर्ड 'शॉ पुरस्कार' की शुरुआत की थी। हर साल यह अवॉर्ड एस्ट्रोनॉमी, बायोलॉजी और मैथमेटिक्स साइंस की फील्ड में दिया जाता है।
उत्तर प्रदेश के बहराइच जिले की 18 वर्षीय पिंक ई-रिक्शा चालक आरती ने 22 मई 2024 को अमल क्लूनी महिला सशक्तिकरण पुरस्कार जीता। यह पुरस्कार लंदन में प्रिंस ट्रस्ट अवार्ड्स में प्रदान किया गया, जहाँ आरती ने बकिंघम पैलेस में किंग चार्ल्स III से मुलाकात की। आरती का कार्य भारत में पिंक ई-रिक्शा पहल पर केंद्रित है, जो बैटरी चालित रिक्शा के साथ महिलाओं के लिए सुरक्षित, पर्यावरण-अनुकूल परिवहन की पेशकश करता है जो प्रदूषण को कम करता है। यह पुरस्कार उन युवा महिलाओं को सम्मानित करता है जिन्होंने प्रतिकूल परिस्थितियों पर काबू पाया और अपने समुदाय पर महत्वपूर्ण प्रभाव डाला। पुरुष-प्रधान क्षेत्र में आरती के काम से उनके समुदाय में महिलाओं की सुरक्षा में सुधार हुआ है, और उनका लक्ष्य अपनी बेटी के लिए बेहतर भविष्य सुरक्षित करना है। आरती ने टिकाऊ परिवहन के प्रतीक गुलाबी रिक्शा में बकिंघम पैलेस रिसेप्शन तक यात्रा की। किंग चार्ल्स द्वारा स्थापित प्रिंस ट्रस्ट इंटरनेशनल 20 देशों में युवाओं का समर्थन करता है। प्रोजेक्ट लहर ने प्रिंस ट्रस्ट इंटरनेशनल और आगा खान फाउंडेशन के सहयोग से आरती को पिंक ई-रिक्शा योजना से परिचित कराया।
हाल ही में टोक्यो विश्वविद्यालय की अटाकामा वेधशाला (TAO) का उद्घाटन किया गया है। यह अब विश्व की सबसे ऊँची खगोलीय वेधशाला (18,500 फीट की ऊँचाई) है, यहाँ तक कि प्रसिद्ध अटाकामा लार्ज मिलीमीटर एरे (Atacama Large Millimeter Array (ALMA) को भी पीछे छोड़ देती है, जिसकी ऊँचाई 16,570 फीट है। 6.5 मीटर ऑप्टिकल-इन्फ्रारेड क्षमता वाली TAO टेलीस्कोप, चिली के अटाकामा रेगिस्तान में माउंट चाजनंतोर पर 18,500 फीट की ऊँचाई पर स्थित है। चाजनंतोर अटाकामा रेगिस्तान के पास एंडीज़ पर्वत में स्थित है। अटाकामा रेगिस्तान अपनी उच्चावच, न्यून आर्द्रता और साफ आकाश के कारण खगोलीय अवलोकनों के लिये पृथ्वी पर सबसे उत्कृष्ट स्थानों में से एक है, जो ब्रह्मांड का अध्ययन करने के लिये उत्कृष्ट परिस्थितियाँ प्रदान करता है। क्षेत्र की उच्चावच, विरल वातावरण और शुष्क मौसम, निकट-अवरक्त तरंगदैर्ध्य (Near-Infrared Wavelengths) के लगभग पूर्ण स्पेक्ट्रम को देखने के लिये आदर्श हैं।
हाल ही में रूस ने 27,000 रूसी AK-203 असॉल्ट राइफलों की पहली खेप भारतीय सेना को सौंप दी है। जुलाई 2021 में भारत और रूस के बीच हस्ताक्षरित एक अनुबंध के तहत, रूस से प्रौद्योगिकी हस्तांतरण के साथ भारत में 6.1 लाख से अधिक AK-203 असॉल्ट राइफलों का निर्माण किया जाएगा। इस उद्देश्य के लिये वर्ष 2019 में उत्तर प्रदेश के कोरवा में संयुक्त उद्यम इंडो-रूसी राइफल्स प्राइवेट लिमिटेड (IRRPL) की स्थापना की गई थी। इसकी स्थापना भारत के तत्कालीन आयुध निर्माणी बोर्ड [वर्तमान में एडवांस्ड वेपन्स एंड इक्विपमेंट इंडिया लिमिटेड (AWEIL) तथा म्यूनिशन्स इंडिया लिमिटेड (MIL)] एवं रूस के रोसोबोरोनेक्सपोर्ट (RoE) तथा कलाश्निकोव कंपनी के बीच की गई थी। भारत उत्तरोत्तर देश में ही AK-203 राइफलें बना रहा है, जिसका लक्ष्य केवल 2 वर्षों में 70% घरेलू उत्पादन तक पहुँचना है। वर्तमान में राइफल के लगभग 25% पुर्जे स्थानीय स्तर पर निर्मित होते हैं। अनुमान है कि दो से तीन वर्षों में 100% स्थानीयकरण के साथ बड़े पैमाने पर राइफलों का उत्पादन किया जाएगा। भारतीय सेना अधिक उन्नत हथियारों के पक्ष में INSAS (इंडियन नेशनल स्मॉल आर्म्स सिस्टम) राइफलों को चरणबद्ध तरीके से समाप्त कर रही है।
मणिपुरी पोनी, जिसे मैतेई सगोल (Meitei Sagol) के नाम से भी जाना जाता है, को संरक्षित करने की तत्काल आवश्यकता के चलते मणिपुर सरकार ने अन्य समूहों और संगठनों के साथ मिलकर कई निर्णय लिये हैं जिनका उद्देश्य इसे विलुप्त होने से रोकना है। मैतेई सगोल भारत में घोड़े और पोनी की सात मान्यता प्राप्त नस्लों में से एक है। अन्य में मारवाड़ी घोड़ा, काठियावाड़ी घोड़ा, ज़ांस्करी पोनी (Zanskari Pony), स्पीति पोनी (Spiti Pony), भूटिया पोनी (Bhutia Pony) और कच्छी-सिंधी घोड़ा शामिल हैं। इसे ओरिज़नल पोलो पोनी माना जाता है, क्योंकि मणिपुर के पारंपरिक सगोल कांगजेई खेल (Sagol Kangjei sport) ने आधुनिक पोलो को जन्म दिया। नस्ल के संरक्षण के लिये वर्ष 2016 में मणिपुरी पोनी संरक्षण और विकास नीति (Manipuri Pony Conservation and Development Policy- MPCDP) बनाई गई थी। मणिपुरी पोनी की आबादी तेज़ी से घट रही है, वर्ष 2003 के 1,898 से घटकर वर्ष 2019 में यह केवल 1,089 रह गई, जिसके कारण वर्ष 2013 में मणिपुर सरकार द्वारा इस नस्ल को लुप्तप्राय घोषित कर दिया गया। मणिपुरी पोनी को अपनी विशिष्ट विशेषताओं, जैसे आंतरिक बल, दक्षता, बुद्धिमत्ता, गति, गतिशीलता और कठिन जलवायु परिस्थितियों के अनुकूल होने के लिये जाना जाता है।
सूचना और प्रसारण सचिव संजय जाजू ने कहा कि एनीमेशन और दृश्य प्रभावों में युवाओं को प्रशिक्षण देने के लिए राष्ट्रीय उत्कृष्टता केन्द्र की स्थापना की जाएगी। चेन्नई में मीडिया से बातचीत में उन्होंने कहा कि तीन लाख करोड के फिल्म निर्माण उद्योग के लिए आधुनिक तकनीकों में पारंगत युवाओं की आवश्यकता है। श्री जाजू ने कहा कि उद्योग की इन आवश्यकताओं को उत्कृष्टता केन्द्र पूरा करेगा। सचिव ने सूचना और प्रसारण मंत्रालय की विभिन्न इकाइयों के प्रमुखों से मुलाकात की और मंत्रालय के उद्देश्यों को पूरा करने के लिए रूपरेखा तैयार करने को कहा। श्री संजय जाजू एक दिन के चेन्नई के दौरे पर हैं।
23 मई को भारतीय नौसेना के मुताबिक 16 वर्षीय काम्या कार्तिकेयन ने माउंट एवरेस्ट पर चढ़ाई कर नया रिकॉर्ड बनाया। वह नेपाल की ओर से दुनिया की सबसे ऊंची चोटी फतेह करने वाली सबसे कम उम्र की भारतीय पर्वतारोही बन गईं। वह मुंबई के नेवी चिल्ड्रन स्कूल में 12वीं क्लास की स्टूडेंट हैं। काम्या माउंट एवरेस्ट पर चढ़ने वाली दुनिया की दूसरी सबसे कम उम्र की महिला पर्वतारोही बन गईं। मालावत पूर्ण सबसे कम उम्र में माउंट एवरेस्ट पर चढ़ने वाली महिला हैं। उन्होंने 13 वर्ष की उम्र में माउंट एवरेस्ट की चोटी पर पहुंची थीं। जॉर्डन रोमेरो माउंट एवरेस्ट पर पहुंचने वाले सबसे कम उम्र के व्यक्ति हैं। 25 मई 2014 जॉर्डन ने 13 साल की उम्र में माउंट एवरेस्ट फतेह किया था।
भारतीय एथलेटिक दल ने पहली एशियाई रिले चैंपियनशिप में तीन पदक - एक स्वर्ण और दो रजत - के साथ समापन किया। पहली एशियाई रिले चैंपियनशिप 20 और 21 मई 2024 को बैंकॉक, थाईलैंड में आयोजित की गई थी। यह चैंपियनशिप एशियाई एथलीटों को 26 जुलाई 2024 से शुरू होने वाले 2024 पेरिस ग्रीष्मकालीन ओलंपिक के लिए अर्हता प्राप्त करने का एक मौका भी था । चीन और जापान सहित 16 एशियाई देशों ने बैंकॉक प्रतियोगिता में भाग लिया। भारत की मिश्रित रिले टीम ने 4x400 मीटर स्पर्धा में स्वर्ण पदक जीता। 3 मिनट 14.1 सेकंड के नए राष्ट्रीय रिकॉर्ड के साथ, मुहम्मद अजमल, ज्योतिका श्री दांडी, अमोज जैकब और सुभा वेंकटेशन की भारतीय टीम ने स्वर्ण पदक जीता। मोहम्मद अनस याहिया, टी संतोष कुमार, मिजो चाको कुरियन और अरोकिया राजीव की पुरुष टीम ने श्रीलंकाई टीम से पीछे रहकर रजत पदक जीता। विथ्या रामराज, एमआर पूवम्मा, रूपल और प्राची चौधरी की भारतीय महिलाओं की 4x400 मीटर रिले टीम ने 3 मिनट 33.55 सेकेंड में दौड़ पूरी कर रजत पदक जीता। स्वर्ण पदक वियतनाम की महिला टीम ने जीता जबकि कांस्य पदक जापानी टीम ने जीता। भारतीय पुरुष और महिला 4x400 मीटर रियल टीम पहले ही पेरिस ओलंपिक 2024 के लिए क्वालीफाई कर चुके है। उन्होंने मई 2024 में बहामास में आयोजित विश्व रिले 24 में अपने प्रदर्शन से ओलंपिक कोटा हासिल किया था।
जापान में चल रही विश्व पैरा एथलेटिक्स चैंपियनशिप में पुरुष शॉटपुट में भारत के सचिन सर्जेराव खिलाड़ी ने स्वर्ण पदक जीत लिया है। उन्होंने 16 मीटर 30 सेंटीमीटर थ्रो कर एफ-46 श्रेणी में एशियाई रिकॉर्ड भी बनाया। प्रतियोगिता में एक अन्य भारतीय खिलाड़ी धर्मबीर ने पुरुष क्लब थ्रो में कांस्य जीता। 33 मीटर 31 सेंटीमीटर थ्रो कर उन्होंने एफ-51 श्रेणी में एशियाई रिकॉर्ड कायम किया। प्रतियोगिता में भारत ने 5 स्वर्ण, 4 रजत और 3 कांस्य सहित कुल 12 पदक जीतकर अब तक का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन किया है। अंकतालिका में चीन 48 पदकों के साथ पहले स्थान पर है।
अंतर्राष्ट्रीय ओलंपिक समिति (आईओसी) ने पेरिस ओलंपिक खेलों में भाग लेने वाले खिलाडियों को प्रोत्साहित के लिए ‘लेट्स मूव इंडिया’ पहल शुरू करने की घोषणा की है। इसका उद्देश्य देश भर के लोगों को सोशल मीडिया के जरिए इस अभियान में शामिल करना है। 23 जून को ओलंपिक दिवस के अवसर पर क्षेत्रीय स्कूल इस अभियान में भाग ले सकते हैं और पसंदीदा खिलाडी को प्रोत्साहित कर सकते हैं। आईओसी ने भारत के पहले व्यक्तिगत ओलंपिक स्वर्ण पदक विजेता और आईओसी एथलीट आयोग के सदस्य अभिनव बिंद्रा के साथ हाथ मिलाया है और वे देश भर के स्कूलों को इस अभियान में शामिल होने के लिए प्रेरित करेंगे। पेरिस ओलंपिक 26 जुलाई से शुरू होगा।
23 मई को स्पोर्ट्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया (SAI) के मुताबिक तेजस शिरसे ने 110 मीटर हर्डस रेस जीत ली। उन्होंने फिनलैंड में चल रहे वर्ल्ड एथलेटिक्स कॉन्टिनेंटल टूर मीट 2024 नया नेशनल रिकॉर्ड बनाया। तेजस शिरसे ने 13.41 सेकंड में ही रेस को पूरा कर लिया। वह 13.27 सेकंड के ओलिंपिक क्वालिफिकेशन मार्स के 0.14 सेकंड से चूक गए। उन्होंने 2017 में सिद्धांत थिंगलाया का 13.48 सेकंड का नेशनल रिकॉर्ड तोड़ दिया। महिलाओं की 100 मीटर कैटेगरी में ज्योति याराजी ने सिल्वर मेडल जीता। उन्होंने 12.78 सेकंड में अपने ही नेशनल रिकॉर्ड की बराबरी की।
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