Ask Question | login | Register
Notes
Question
Quiz
Tricks
Facts

अरबों का आक्रमण

मोहम्मद बिन कासिम

भारत पर आक्रमण करने वाला प्रथम अरब मुस्लिम मुहम्मद बिन कासिम था।

मुहम्मद बिन कासिम ईरान के गवर्नर अल हज्जाज का सेनापति व दामाद था।

712 ई. में अल हज्जाज ने कासिम को भारत पर आक्रमण हेतु भेजा।

मुहम्मद बिन क़ासिम

मुहम्मद बिन कासिम इस्लाम के शुरुआती काल में उमय्यद खिलाफत का एक अरब सिपहसालार था। उसने 17 साल की उम्र में ही उसे भारतीय उपमहाद्वीप पर हमला करने के लिए भेज दिया गया था। कासिम का जन्म सउदी अरब में स्थित ताइफ शहर में हुआ था। वह अल-सकीफ कबीले का सदस्य था। उसके पिता कासिम बिन युसुफ थे जिसनके देहांत के बाद उसके ताऊ हज्जाज बिन युसुफ ने उसे संभाला। उसने हज्जाज की बेटी जुबैदाह से शादी कर ली और फिर उसे सिंध पर मकरान तट के रास्ते से आक्रमण करने के लिए रवाना कर दिया गया। कासिम के अभियान को हज्जाज कूफा नामक शहर में बैठकर नियंत्रित कर रहा था।

मोहम्मद बिन कासिम को मकरान के राज्यपाल(गवर्नर) मुहम्मद हारून की ओर से पत्थर फेंकने के लिए प्राचीन युग के यन्त्र भी मिले थे जिनसे मध्यकाल में तोपखानों का काम लिया जाता थौ।

मोहम्मद बिन कासिम के आक्रमण के समय सिंध का शासक दाहिर था।

रावड़ का युद्ध - 20 जून 712 ई. को यह युद्ध मोहम्मद बिन कासिम व सिन्ध के राजा दाहिर के बीच हुआ। इस युद्ध में दाहिर पराजित हुआ।

दाहिर के पुत्र व ब्राह्मणवाद के राजा जयसिंह को पराजित कासिम ने इस पर अधिकार कर लिया।

713 ई. में मुल्तान को जीत कर कासिम ने बहुत सारा धन प्राप्त किया तथा इसका नाम स्वर्ण नगर रख दिया।

भारत पर अरब आक्रमण की जानकारी ‘चचनामा’ नामक ग्रन्थ से प्राप्त होती है। यह ग्रन्थ अरबी भाषा में लिखा गया है।

चचनामा ग्रन्थ के अनुसार 715 ई. में बगदाद के खलीफा सुलेमान के आदेश पर मुहम्मद बिन कासिम की हत्था करवा दी गई।

तथ्य

'चचनामा' नामक ऐतिहासिक दस्तेवाज अनुसार कासिम ने जब राजा दाहिर सेन की बेटियों को तोहफा बनाकर खलीफा के लिए भेजा तो खलीफा ने इस अपना अपमान यह समझकर समझा कि कासिम पहले ही उनकी इज्जत लूट चूका है और अब खलीफा के पास भेजा है। ऐसे समझकर खलीफा ने मुहम्मद बिन कासिम को बैल की चमड़ी में लपेटकर वापस दमिश्क मंगवाया और उसी चमड़ी में बंद होकर दम घुटने से वह मर गया। लेकिन बाद में खलिफा को पता चला कि दाहिरसेनी की बेटियों ने झूठ बोला तो उसने तीनों बेटियों को जिन्दा दीवार में चुनवा दिया।

दूसरी घटना में ईरानी इतिहासकार बलाज़ुरी के अनुसार कहानी अलग थी। नया खलीफ़ा हज्जाज का दुश्मन था और उसने हज्जाज के सभी सगे-संबंधियों को सताया। बाद में उसने मुहम्मद बिन कासिम को वापस बुलवाकर इराक के मोसुल शहर में बंदी बनाया और वहीं उस पर कठोर व्यवहार और पिटाई की गई जीसके चलते उसने दम तोड़ दिया।

भारत में जजिया कर सर्वप्रथम मोहम्मद बिन कासिम ने लगाया था। सर्वप्रथम मुहम्मद कासिम ने सिंध के क्षेत्रों में ‘जजिया’ कर वसूल किया। इस कर से बच्चे, अपाहिज, साधु-सन्त, ब्राह्मण एवं महिलाओं को मुक्त रखा गया।

मोहम्मद बिन कासिम ने सिन्ध क्षेत्र में ‘दीनार’ नामक स्वर्ण मुद्राओं का प्रचलन किया था।

अरब के लोगों भारत को हिन्दुस्तान कहते थे और भारत से ही उन्होंने अंक पद्धति, दशमलव पद्धति सीखी अतः इस पद्धति को उन्होंने ‘हिन्दजा’ नाम दिया। और यूनानियों ने अरब के लोगों से अंक पद्धति व दशमलव पद्धति को सीखा व इसे ‘अरेबियन/अरेबिक न्यूमेरल्स’ नाम दिया।

मुहम्मद बिन कासिम ने विष्णु शर्मा द्वारा लिखित पंचतंत्र का अरबी में अनुवाद करवाया। पंचतंत्र का अरबी अनुवाद कलीला दमना कहलाता है।

ब्रह्मगुप्त द्वारा लिखित ब्रह्म सिद्धांत एवं खण्डखाद्य(खण्ड खण्डवाद भी नाम है।) का अरबी में अनुवाद भारतीय विद्वानों की सहायता से अल-फाजरी ने किया था। ब्रह्म सिद्धांत का अरबी नाम इल्म-उल-साहिब रखा गया।

खगोल शास्त्र पर आधारित पुस्तक किताब-उल-जिज की रचना अल-फाजरी ने की।

किताब-फुतुल-अल-बलदान का लेखक बिलादुरी है।

मीर मासूम द्वारा लिखित ग्रन्थ तारीख-ए-सिंध एवं मासूम-ए-सिंध से भारत पर किये गये अरबों के आक्रमण की जानकारी मिलती है।

मोहम्मद बिन कासिम ने सिंध एवं मुल्तान आदि को जीता किन्तु वो अधिक आगे नहीं बढ़ सका।

Start Quiz!

« Previous Next Chapter »

Take a Quiz

Test Your Knowledge on this topics.

Learn More

Question

Find Question on this topic and many others

Learn More

India Game

A Game based on India General Knowledge.

Start Game

Share

Join

Join a family of Rajasthangyan on


Contact Us Cancellation & Refund About Write Us Privacy Policy About Copyright

© 2024 RajasthanGyan All Rights Reserved.